चंडीगढ़। रविवार को नवजोतसिंह सिद्धू ने अपनी पार्टी कांग्रेस से पंजाब पुलिस प्रमुख और महाधिवक्ता को बदलने की मांग फिर दोहराई और कहा कि अगर ऐसा नहीं किया गया तो ‘हम मुंह दिखाने के लायक नहीं रहेंगे।
मुख्यमंत्री और सिद्धू ने तीन दिन पहले बैठक की थी जिसके बाद यह निर्णय लिया गया था कि राज्य सरकार के सभी प्रमुख निर्णय लेने से पहले सलाह के लिए एक समन्वय समिति का गठन किया जाएगा।
सिद्धू ने रविवार को ट्वीट किया कि बेअदबी के मामलों और मादक पदार्थ के व्यापार के दोषियों की गिरफ्तारी की मांग के कारण हमारी सरकार 2017 में आई थी और इसमें विफल रहने पर लोगों ने पिछले मुख्यमंत्री को हटा दिया। अब एजी/डीजी की नियुक्ति से पीड़ितों के घावों पर नमक छिड़का जा रहा है, उन्हें हटाया जाना चाहिए वर्ना हम मुंह दिखाने के लायक नहीं रहेंगे।
सिद्धू ने कुछ दिन पहले पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया था और राज्य के पुलिस महानिदेशक, महाधिवक्ता और ‘दागी नेताओं’ की नियुक्तियों पर सवाल खड़े किए थे। सिद्धू, भारतीय पुलिस सेवा के वरिष्ठ अधिकारी इकबाल प्रीत सिंह सहोता को हटाने की मांग कर रहे हैं जिन्हें पंजाब पुलिस के महानिदेशक का अतिरिक्त प्रभार दिया गया है।
सहोता, अकाली सरकार द्वारा 2015 में बेअदबी की घटनाओं की जांच के लिए बनाए गए विशेष जांच दल (SIT) के प्रमुख थे। सिद्धू ने राज्य के नए महाधिवक्ता एएस देओल की नियुक्ति पर भी सवाल खड़े किए जो 2015 में पूर्व पुलिस महानिदेशक सुमेधसिंह सैनी के वकील थे। शनिवार को सिद्धू ने कहा था कि वे किसी पद पर रहें या न रहें, राहुल गांधी और प्रियंका गांधी के साथ खड़े रहेंगे।