जमशेदपुर 17 जुलाई संवाददाता सरायकेला कांड्रा सडक़ पर बैगनबाड़ी के समीप कल जिस कारण सरायकेला के वरिष्ठ पत्रकार शेख अल्लाउद्दीन की मृत्यु हुई उसको लेकर वह पिछले कुछ समय से लगातार संघर्षरत थे और उसके विरुद्ध आवाज उठाते थे। वहां सडक़ पर बड़े बड़े भारी वाहनों को पार करने का एक धंधा चल पड़ा है। कोलावीरा से लेकर घटनास्थल तक सडक़ों के किनारे वहां आस पास की कंपनियों में आने वाले कच्चे माल और उत्पादित माल से लगे भारी वाहन खड़े किये जाते हैं। इस कारण वहां हमेशा दुर्घटना की आशंका बनी रहती है। शेख अल्लाउद्दीन इसका विरोध करते थे और अखबार में समाचार भी प्रकाशित करते थे। कल दुर्घटना के बाद परिवहन विभाग ने जिस ढंग से नाजायज रुप से खड़े वाहनों से दंड वसूला और उनको सडक़ क्षेत्र से हटवाया, यही काम पहले किया गया होता तो उसपर कलंक के छीटे नहीं पड़ते। पता चला है कि वहां जावेद नामक एक व्यक्ति ने ऐसी गाडिय़ों को पार्किंग कराने का ठेका ले रखा है। शेख अल्लाउद्दीन जावेद को ऐसा करने से मना करते थे। वहां जावेद द्वारा एक छोटा -मोटा होटल भी चलाया जाता है। कल भी दुर्घटना के ठीक पहले शेख अल्लाउद्दीन जावेद के इस होटल के पास रुके थे। उसके बाद ही कहा जाता है कि एक तेज रफ्तार आल्टो कार उन्हें धक्का मारती हुई सरायकेला की ओर भाग गई। उस क्षेत्र में अमलगम स्टील में आने और जाने वाली बड़ी गाडिय़ों की लंबी कतार लग जाती है। माल उतारने तक गाडिय़ों को सरायकेला कांड्रा मार्ग के अलावे होटल से सटे पीछे की ओर बनी एक पक्की सडक़ पर खड़ा कराया जाता है। इस तथाकथित पार्किंग की वसूली नाजायज रुप से जावेद द्वारा की जाने की बात कही जाती है। इसमें स्थानीय स्तर पर पुलिसकर्मियों की भी सांठ गाँठ होती है। उल्लेखनीय है कि सडक़ पर यूं भी चलने वाले भारी वाहनों से प्रति गाड़ी ट्रैफिक पुलिस की एक निश्चित रकम बंधी होती है जो न्यूनतम 5000 से कम नहीं होती है। इन सब वसूलियों में जावेद की अहम भूमिका होती है। कल की छापामारी और $खड़ी गाडिय़ों से चालान वसूली से जिला प्रशासन और पुलिस प्रशासन को पुख्ता प्रमाण मिल गया कि यहां वाहनों की पार्किंग में वसूली का कितना बड़ा नाजायज धंधा चलता है। कोई आश्चर्य नहीं कि इस नाजायज पार्किंग और वसूली का विरोध करने वाले शेख अल्लाउद्दीन के साथ कोई षडय़ंत्र किया गया एवं उन्हें धक्का मारने की साजिश की गई। पूर्व केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा ने शेख अल्लाउद्दीन के अंतिम दर्शन के मौके पर उनके आवास पर पत्रकारों के एक सवाल का जवाब देते हुए कहा कि प्रशासन अभी तक यह पता नहीं कर पाया कि किस वाहन ने दिवंगत शेख को धक्का मारा। उन्होंने कहा कि प्रशासन को इस मामले की जांच करनी चाहिये। कांग्रेस के सरायकेला जिला उपाध्यक्ष और जनाधिकार मोर्चा के अध्यक्ष रवींद्र मंडल ने शेख अल्लाउद्दीन के साथ हुए हादसे में षडय़ंत्र की आशंका जताते हुए इसमें उच्चस्तरीय जांच की मांग की है।
उल्लेखनीय है कि बैगनबाड़ी और मुडिय़ा के आस पास अमलगम स्टील में आने वाले भारी वाहन तथा कोलावीरा में रामकृष्णा फोर्जिंग में आने जाने वाले भारी वाहन सडक़ के किनारे खड़े कर दियेजाते हैं। इसपर कंपनी प्रबंधन और स्थानीय पुलिस दुर्घटनामुक्त यातायात के प्रति सचेत नही ंरहती. ऊपर से जावेद जैसे लोग उसे नाजायज कमाई का जरिया बना लेते हैं।