हजारीबाग शनिवार रात झारखंड के हजारीबाग में बड़ा हादसा हुआ। राष्ट्रीय राजमार्ग टू फोर-सिक्स लेन पर दनुआ घाटी में देर रात लगभग साढ़े 10 बजे चौपारण की तरफ से जा रहा गैस टैंकर दुर्घटनाग्रस्त हो गया। वाहन पलटने से टैंकर में भीषण आग लग गई। इसमें 3 लोग जिंदा जल गए, वहीं एक की हालत गंभीर है। एक शव टैंकर ड्राइवर बबलू यादव (35 वर्ष) का है। बाकी 2 शवों की अब तक पहचान नहीं हो सकी है।
हादसे में टेलर, 14 चक्का डंपर, ट्रक समेत कुल 7 वाहन जले हैं। करीब 2 किलोमीटर के इलाके के पेड़ पौधे और बिजली के तार व खंभे तक जल गए हैं। यह हादसा हथिया बाबा घाटी के दुर्घटना संभावित क्षेत्र में हुआ। बचाव कार्य जारी है।
रात को अनियंत्रित हुए हालात
आग लगने के बाद GT रोड पर अफरातफरी मच गई। पुलिस ने सावधानी बरतते हुए झारखंड-बिहार सीमा के चोरदाहा चेकपोस्ट के समीप राज्य में प्रवेश करने वाले वाहनों को रोक दिया।
वहीं, राज्य सीमा से बाहर जाने वाले वाहनों को चौपारण बाजार के आगे GT रोड पर जाने से रोक दिया गया। घटनास्थल के नजदीक ही थाना प्रभारी स्वपन कुमार महतो पुलिस कर्मियों के साथ कैंप करते रहे। रविवार की सुबह मलबा हटाने का काम चला।
शनिवार की देर रात हथिया बाबा के पास जोडरवा पुल में गैस लदे टैंकर दुर्घटनाग्रस्त हो गयी. इससे टैंकर में भीषण आग लग गयी. आग इतनी तेज थी कि जीटी रोड से गुजर रही 4 ट्रक भी इसकी चपेट में आकर जलकर राख हो गयी. इस दुर्घटना में 3 वाहन चालक जिंदा जल गया. इस हादसे के बाद आसपास के होटल- ढाबा संचालक समेत ग्रामीणों के बीच अफरा-तफरी मच गयी.
मृतकों में बबलू यादव (30 वर्ष) पिता जगदीश यादव चोरदाहा, टैंकर चालक रियासत बाबू (32 वर्ष) पिता अब्दुल गफार यूपी एवं राजू यादव (29 वर्ष) पिता जागो यादव कुरहरा बरही शामिल है. पुलिस ने शव को कब्जे में कर पोस्टमार्टम के लिए हजारीबाग सदर अस्पताल भेज दिया है. वहीं, दूसरी ओर बड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पा जा सका है. रविवार की सुबह देर तक गैस टैंकर की आग नही बुझ पायी थी.
घटनास्थल पर पहुंचे विधायक उमाशंकर अकेला यादव ने कहा घटना हृदय विदारक है. मृतक के आश्रितों को मुआवजा दिलाने का प्रयास करेंगे. घाटी में अक्सर ऐसी घटना होती रहती है. इस पर रोक लगाने के लिए NHAI व्यवस्था करें. इस संबंध में राज कुमार यादव ने बताया कि आग इतनी तेज थी कि पूरे क्षेत्र में एक घंटा तक लालिमा छायी रही. वहीं, बीच-बीच में विस्फोटक आवाज भी आ रही थी. इस कारण गांव के सभी लोग घर के बाहर निकल आये थे.