नई दिल्ली
कांग्रेस सांसद राहुल गांधी मंगलवार को संसद भवन के बाहर एक रिपोर्टर पर भड़क गए। उन्होंने रिपोर्टर पर बुरी तरह बरसते हुए कहा कि आप सरकार की दलाली कर रहे हैं, इसे बंद कर दीजिए। कांग्रेस सांसद के इस बयान पर सोशल मीडिया पर कई पत्रकारों ने अपना गुस्सा जाहिर किया है। इसके साथ ही कई ट्विटर यूजर्स ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी है। दरअसल राहुल गांधी ने सुबह एक ट्वीट किया था कि 2014 से पहले लिंचिंग शब्द सुनने में भी नहीं आता था। धन्यवाद मोदी। इसी को लेकर रिपोर्टर ने उनसे पूछा तो उन्होंने सख्त तेवर में कहा कि देखिये मैंने आपको पहले भी कहा है… सरकार की दलाली मत करो। इस दौरान कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मल्लिकार्जुन खड़गे और शिवसेना के संजय राउत ने उनको शांत किया और वहां से चलने को कहा।
ऐसा एक बार नहीं बल्कि दो दिन में दो बार हुआ। अब उनके इस व्यवहार से सवाल उठ रहा है कि अगर लोकतंत्र को लेकर राहुल गांधी सुनने में अच्छे लगने वाले भाषण देते हैं तो फिर पत्रकारों के लिए उनका व्यवहार ऐसा कैसे हो गया। ऐसे में उनके दोहरे चरित्र को लेकर भी सवाल उठ रहा है।
राहुल गांधी का दोहरा रवैया
राहुल गांधी का एक वीडियो कई सवाल पैदा कर रहा है। राहुल गांधी जिस तरह रैलियों में भाषण देते हैं वो सुनने में काफी अच्छे लगते हैं। राहुल गांधी अपनी ज्यादातर रैलियों में केंद्र सरकार, आरएसएस पर काफी भड़कते हुए नजर आते हैं। कई मामलों का उदाहरण देकर वो ये साबित करते हैं कि देश में लोकतंत्र खतरे में हैं। आज राहुल गांधी ने संसद के बाहर एक पत्रकार ने लिंचिंग पर सवाल किया। दरअसल, आज राहुल गांधी ने ट्वीट करते हुए लिखा कि 2014 से पहले ‘लिंचिंग’ शब्द सुनने में भी नहीं आता था। इसी ट्वीट पर पत्रकार ने सवाल किया कि केंद्र सरकार लिंचिंग मामले में 1984 की बात कह रही है।
लिंचिंग शब्द सुनते ही गुस्साए राहुल गांधी
राहुल गांधी से जैसे ही ये सवाल दागा गया वो बिफर गए और खीझते हुए कहते हैं कि सरकार की दलाली मत करो। इतना कहते हुए वो कांग्रेस और अन्य नेताओं के साथ वहां से निकल जाते हैं। हालांकि उनका ये वीडियो रेकॉर्ड हो गया और बीजेपी ने हमला बोला है। राहुल गांधी के ट्वीट पर केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने जवाब दिया था कि लिंचिंग का बड़ा उदाहरण तो 1984 में जब राजीव गांधी सत्ता में आए, इंदिरा गांधी की हत्या के बाद जिस तरह से हजारों सिखों की हत्याएं की गईं। उस समय की लिंचिंग की घटनाओं पर कांग्रेस से किसी बड़े नेता ने मांफी नहीं मांगी।
भाजपा ने घेरा
उन्होंने आगे लिखा कि आज जब राहुल गांधी से लिंचिंग मामले पर मीडिया द्वारा सवाल किए गए, जिन शब्दों का प्रयोग उन्होंने मीडिया के लिए किया वह आज इमरजेंसी की याद करवाता है जो कांग्रेस के समय थी। इसके एक दिन पहले ही राहुल गांधी ऐसे ही आपा खो बैठे थे। संसद में विपक्ष के हंगामे पर किए गए एक सवाल पर कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी लाल हो गए। उन्होंने पलटकर मीडियाकर्मी से ही सवाल कर दिया। उससे पूछ लिया कि आप सरकार के लिए काम करते हैं क्या।
भाजपा आईटी सेल ने साधा निशाना
बीजेपी के राष्ट्रीय सूचना एवं प्रौद्योगिकी विभाग के प्रमुख अमित मालवीय ने इस तीखी बातचीत का वीडियो क्लिप शेयर किया है। उन्होंने राहुल को ‘एनटाइटल्ड ब्रैट’ यानी ऐसा बिगड़ा बच्चा बताया जिसे यह करने का हक मिला हुआ है। मालवीय ने लिखा, ‘राहुल एक एनटाइटल्ड ब्रैट हैं। उन्होंने संसद में विपक्ष के हंगामे के बारे में सवाल करने वाले मैसेंजर को छलनी कर दिया। सरकार ने विपक्षी दलों से चर्चा के लिए आने को कहा। लेकिन, कांग्रेस सहित अन्य लोग नहीं आए। कांग्रेस और राहुल गांधी चर्चा में अक्षम हैं। इसलिए व्यवधान डाल रहे हैं।’
कल भी गुस्साए थे राहुल गांधी
वीडियो क्लिप संसद के बाहर की दिखती है। इसमें राहुल मीडिया से मुखातिब हैं। बातचीत के क्रम में राहुल से एक मीडियाकर्मी सवाल करता है। संसद में विपक्ष के हंगामे को लेकर वह राहुल की प्रतिक्रिया लेने की कोशिश करता है। मीडियाकर्मी कहता है कि सरकार का कहना है कि हाउस ऑर्डर में नहीं आता है तो इस वजह से चर्चा नहीं हो रही है। सरकार हर चीज पर चर्चा करने के लिए तैयार है। मीडियाकर्मी के इतना कहते ही राहुल तमतमा जाते हैं। प्रतिक्रिया देने के बजाय वह मीडियाकर्मी से बहस में उलझ जाते हैं। राहुल मीडियाकर्मी से ही सवाल कर बैठते हैं कि क्या आप सरकार के लिए काम करते हैं?