:हाथ में तिरंगे के बावजूद लाठी बरसाते रहे एडीएम;पीटकर किया लहुलुहान
पटना पटना में सोमवार को पुलिस ने बेरोजगार शिक्षक कैंडिडेट्स के प्रदर्शन के दौरान लाठीचार्ज कर दिया। पटना के एडीएम केके सिंह ने तिरंगा लिए एक प्रदर्शनकारी पर जमकर लाठी बरसाई। इतनी लाठियां मारीं कि उसका खून बहने लगा। बाद में एक पुलिसकर्मी ने प्रदर्शनकारी से तिरंगा छीन लिया। मामले पर डिप्टी ष्टरू तेजस्वी यादव ने कहा है कि ्रष्ठरू को ऐसा व्यवहार नहीं करना चाहिए था। जांच का
आदेश दिया जा चुका है।
नियुक्ति को लेकर किया जा रहा था प्रोटेस्ट
करीब 5 हजार सीटेल और बीटेट पास उम्मीदवार डाक बंगला चौराहे पर प्रदर्शन कर रहे थे। इसी दौरान पुलिस ने उन पर लाठीचार्ज कर दिया। पटना डीएम ने इस मामले में जांच का आदेश दिया है
और 2 दिन में रिपोर्ट मांगी है। ये कैंडिडेट्स सातवें चरण की नियुक्ति की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे थे। भारी संख्या में पुलिस फोर्स और वाटर कैनन वहां तैनात थी। कैंडिडेट्स बिहार के नए शिक्षा मंत्री के खिलाफ नारेबाजी भी कर रहे थे। वे सरकार से प्राथमिक विज्ञप्ति जारी करने की मांग कर रहे थे।
तेजस्वी बोले-एडीएम को ऐसा व्यवहार नहीं करना चाहिए था
आनन-फानन में उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव राजद कार्यालय पहुंचे और इस मामले पर सरकार का पक्ष रखा। तेजस्वी यादव ने कहा- आज की घटना शर्मनाक है। एडीएम को ऐसा व्यवहार नहीं करना चाहिए
था। शिक्षक अभ्यर्थी राजभवन मार्च कर रहे थे। हमने न्यूज में तस्वीरें देखी हैं। मेरी जिलाधिकारी से बात हुई है। जांच कमेटी बना दी गई है।एडीएम दोषी पाए गए तो उन्हें सजा मिलेगी।
युवक को पुलिस ने इतना पीटा कि उसके मुंह से खून निकल गया। वो तिरंगे से अपना सिर बचाने की कोशिश कर रहा था।
उप मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया कि भाजपा ने दो साल से बिहार को बर्बाद कर रखा था। अब महागठबंधन की सरकार बनने के बाद नौकरी और रोजगार की दिशा में काम हो रहा है। युवाओं से थोड़ा धैर्य बनाएं रखने की अपील की। कहा कि जल्द परिणाम दिखने लगेगा। कहा कि नियुक्ति प्रक्रिया रातो-रात नहीं होती है, उसके लिए एक मानक संचालन प्रणाली (एसओपी) है। हर विभाग में नियुक्ति प्रक्रिया को लेकर निर्देश दे दिए गए हैं। तेजस्वी यादव ने पार्टी कार्यालय में पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष
जगदानंद सिंह, पूर्व मंत्री श्याम रजक, पूर्व विधानसभा अध्यक्ष उदय नारायण चौधरी, पार्टी के प्रमंडलीय प्रभारियों बल्ली यादव, निर्भय अंबेदकर, फैयाज आलम, डॉ. प्रेम गुप्ता सहित अन्य नेताओं के साथ बैठक की और संगठन के कार्यो की जानकारी ली।
प्रदर्शनकारी बोले- नए शिक्षा मंत्री से उम्मीद जगी थी
7वें चरण के नियोजन के लिए विज्ञप्ति जारी करने की मांग को लेकर 5 हजार कैंडिडेट्स ने डाक बंगला चौराहे को चार घंटे तक जाम रखा। अभ्यर्थी विकास ने कहा कि सरकार जल्द से जल्द 7वें चरण की
प्राथमिक विज्ञप्ति जारी करे। नए शिक्षा मंत्री के आने से उम्मीद जगी थी, लेकिन ये भी हमें घुमाने लगे। लाठीचार्ज में 28 लोग घायल हुए है। 5 से 6 अभ्यर्थी पीएमसीएच में भर्ती हैं।
बिहार में शिक्षक भर्ती परीक्षा 8 साल बाद हुई थी। नोटिफिकेशन 2019 में जारी किया गया था। जनवरी 2020 में ऑफलाइन मोड में परीक्षा हुई, लेकिन 2-3 सेंटरों पर फर्जीवाड़े की बात सामने आने पर उसे रद्द कर दिया गया। दोबारा परीक्षा सितंबर 2020 में हुई। तब ये ऑनलाइन हुई थी।