भगत सिंह, सुखदेव व राजगुरु को नमन ने दीं भावभीनी श्रद्धांजलि
* नमन कर रहा युवाओं को जगाने का कार्य- राकेश्वर *
देश को स्वतंत्र कराने में आपने प्राणों की आहुति देने वाले क्रांतिकारी अमर बलिदान भगत सिंह, सुखदेव, राजगुरु के शहादत दिवस पर नमन संस्था द्वारा श्रद्धांजलि सभा का आयोजन कालीमाटी रोड स्थित कार्यालय में किया गया.. इस अवसर पर उपस्थित अतिथियों ने तीनों अमर शहीदों के चित्रों पर माल्यार्पण कर उनके प्रति अपनी श्रद्धा निवेदित की गई,इस दौरान उपस्थिति जनसमुदाय ने शहीदों भारत माता की जय, वंदे मातरम, वीर शहीद अमर रहे के जयघोष से अपनी श्रद्धांजलि माँ भारती के वीर नायकों को दी
कार्यक्रम के दौरान देश के लिए अपनी वीरता प्रदर्शित करने वाले वीरों को सम्मानित किया गयाl
सम्मानित होने वालों में वीर नारी दुर्गावती देवी (स्व. सिपाही जितेंद्र कुमार शर्मा की धर्मपत्नी) , वीर नारी सुनीता देवी, (हवलदार स्व. मनोज कुमार की पत्नी) , हवलदार राकेश तिवारी, हवलदार माणिक वर्धा, हवलदार नरसिंह सिंह, सिपाही शंकर महतो, हवलदार जसवीर सिंह, हवलदार गौतम लाल, हवलदार विनय यादव, हवलदार बिरजू कुमार,वरुण कुमार, सिद्धनाथ सिंह, अनिल कुमार सिन्हा, अवधेश कुमार, हरि सिंह सांडिल, राजीव सिंह, प्रवीण कुमार पांडे, मोहम्मद जावेद, गणेश हांसदा, सुखविंदर सिंह, नवीन कुमार सिन्हा, धनेश्वर बारिक, उमेश शर्मा, जितेंद्र कुमार शर्मा, अनुपम शर्मा, विमल ओझा, लाल मोहर सिंह, विशन देव प्रसाद, अजय कुमार सिंह, राजेंद्र शर्मा, एलबी सिंह, हरिराम कांमत, सरवन कुमार, रोशन कुमार सिंह, एल एन चौधरी, दीपक शर्मा, योगेश्वर एन सिंह, वाई गोविंद राव, निर्मल कुमार गोंड, अमरनाथ ढोके, रामनवमी सिंह,ब्रिज बिहारी शर्मा, एस पी ओ जयसवाल, ओम प्रकाश जी प्रमुख रूप से उपस्थित थे l
इस अवसर पर उन्हें अपनी श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए संस्था के संस्थापक अमरप्रीत सिंह काले ने कहा कि – भगत सिंह, सुखदेव व राजगुरु भारत के उन अमर स्वतंत्रता सेनानियों में से एक थे जिन्होंने मातृभूमि की गुलामी की बेड़ियों को तोड़ने में अपनी मुख्य भूमिका निभाई। उन्होंने गदर आंदोलन के माध्यम से अंग्रेजों के विरुद्ध लड़ाई में देश के लिए अपना जीवन बलिदान कर दिया। ऐसे ही कई देशभक्तों के बलिदानों के पश्चात् देश को आजादी प्राप्त हुई। ऐसे क्रांतिकारियों की जीवन से आज की युवा पीढ़ी को मातृभूमि की रक्षा की सीख लेनी चाहिए साथ ही हमें अपनी आजादी की रक्षा इन बलिदानियों के आदर्शों पर चलकर ही करना होगा। उन्होंने देश के नवनिर्माण का जो स्वप्न देखा था,उसे हम उनके बताए मार्ग पर चलकर ही साकार कर सकते है, हमें अपने देश, समाज के प्रति अपनी कर्तव्य को भी समझना होगा सिर्फ अधिकार की बात से बात पूरी नहीं होती है निष्पक्षता, जागरुकता और कर्तव्यपरायणता के साथ ही हम माँ भारती को परम वैभव के शिखर पर ले जा सकते हैं जैसे भारत की कल्पना शहीदों ने अपना बलिदान देते हुए सोचा था l
इस मौके पर संस्था मुख्य संरक्षक व प्रख्यात मजदूर नेता राकेश्वर पांडे ने कहा कि-मातृभूमि के लिए उनका त्याग और बलिदान अतुलनीय है, देश की स्वतंत्रता के लिए उनके बलिदान के लिए राष्ट्र उनका सदैव ऋणी रहेगा। उनकी देशभक्ति, साहस और आत्म-बलिदान आज भी प्रेरणा बनकर हमारे हृदयों में विद्यमान हैं, इतिहास उन्हें कभी नहीं भुला सकता l
संस्था के संरक्षक व इस्पात मेल के सम्पादक बृजभूषण सिंह ने कहा कि – उनके वाणी एवं विचारों में जोश उत्पन्न करने की वह क्षमता थी जो कमजोर व्यक्तियों को भी ओजस्वी बना देता था। में वे आदर्श स्थापित किये जिसके लिए सम्पूर्ण देश उनका सदैव ऋणी रहेगा। मातृभूमि के लिए उनका बलिदान आज भी देश के नागरिकों में देशभक्ति की भावना का संचार करता हैl
इस मौके पर उपस्थित अन्य वक्ताओं ने भी स्वतंत्रता आंदोलन में इनकी महती भूमिका पर प्रकाश डालते हुए उन्हें अपनी भावभीनी आदरांजलि दीl
कार्यक्रम में मंच का संचालन डी. डी. त्रिपाठी ने व धन्यवाद ज्ञापन राजीव कुमार ने किया l कार्यक्रम में काफी संख्या में शहर के गणमान्य व प्रबुद्ध व्यक्तियों की उपस्थिति रही l कार्यक्रम को सफल बनाने में नमन के सभी स्वयंसेवकों की महत्वपूर्ण भूमिका रही l