धालभूमगढ, 17 जनवरी (संवाददाता)- धालभूमगढ़ थाना क्षेत्र के नरसिंहगढ़ स्थित झारखंड राज्य वन विकास निगम के लकड़ी के डिपो में शुक्रवार की लगी आग 24 घंटें बाद भी रह रहकर सुलग रही है । लकड़ी डिपो में लगी आग को बुझाने के लिए कुल सातों दमकल लगया गया था । उसके बाद भी डिपो में रखी अधिकांश लड़कियां जलकर खाक हो गयी थी । दमकल शुक्रवार से ही आग बुझाने में जुटे रहे। रातभर चले अभियान के बाद आग की लपटें कम हुई । लेकिन शनिवार दोपहर को आग पर पूरी तरह से काबू पाने के बाद सभी सातों दमकल वापस चले गये ।
इस संबंध में डीएफओ ममता प्रियदर्शी का कहना है कि डिपो में आग लगने के संबंध में जांच जारी है। वहीं डिपो में मौजूद रेंजर संजय कुमार का कहना है कि आग से कितनी क्षति हुई है इसकी सही जानकारी दे पाना तत्काल संभव नहीं है। इसका रिकार्ड के साथ मिलान करने के बाद ही कुछ कहा जा सकता है। कितनी लकड़ियां थी तथा कितना जलने से क्षति हुई है इसकी जानकारी नहीं मिल पायी है ।
विदित हो कि डिपो में आग लगने के पहले 266 लाॅट लकड़ी रखा हुआ था। कितना जला है इसका आंकलन नहीं किया गया। वर्ष 2016-17 से इस डिपो में फोरलेन बनने के दौरान काटा गया पेड़ की लकड़ी को रखा गया था। डिपो में कई लॉट में साल, सागवान, गम्हार सहित कीमती लकड़ियांम भी था। हर माह नीलामी कर लकड़ी बेची जाती थी । वन विभाग में कितना लकड़ी था। इसका हिसाब बता पाने में अधिकारी हिचकिचा रहे हैं। डिपो में कुल कितना लकड़ी था ,कितना बेचा गया, वर्तमान कितना जलने से बचा, तथा कितना लकड़ी जल गया इसकी हिसाब अधिकारी नहीं बता पा रहे हैं। आखिर इतने बड़े पैैमाने पर लकडियों का यहां स्टाॅक है तो फिर इसका हिसाब बताने में परेशानी क्यों हो रही है।
न्यू इंडिया इंश्योरेंस कंपनी में इन लकड़ियों का इंश्योरेंस कराया गया है। वन विभाग द्वारा वर्ष 2020 में इस डिपो के एक करोड़ रुपए का इंश्योरेंस किया गया है । इंश्योरेंस कंपनी से शनिवार को आग लगने की सूचना पाकर प्रमोद यादव तथा पंकज कुमार जांच करने पहुंचे थे।