शिवसेना में लड़ाई बढ़ गई है. अब पार्टी की स्थिति उद्धव की शिवसेना बनाम एकनाथ शिंदे की शिवसेना हो गई है. एकनाथ शिंदे ने चीफ व्हिप के तौर पर भरत गोगावले की नियुक्त की है और सीएम उद्धव ठाकरे के द्वारा नियुक्त किए गए सुनील प्रभु को अवैध करार दिया है.इसके साथ-साथ शिंदे ने महाराष्ट्र के डिप्टी स्पीकर को भेजी चिट्ठी में कहा कि सुनील प्रभु के द्वारा जो व्हिप जारी किया गया है वह कानूनी तौर पर अवैध है. शिंदे असली शिवसेना खुद को बता रहे हैं. 34 शिवसेना विधायकों ने एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में प्रस्ताव पर हस्ताक्षर किए हैं. एकनाथ शिंदे ने ट्वीट कर कहा कि शिवसेना विधायक भरत गोगावले को शिवसेना विधानमंडल का मुख्य प्रतिनिधि नियुक्त किया गया है. कारण ये है कि सुनील प्रभु द्वारा विधायकों की आज की बैठक के संबंध में जारी आदेश कानूनी रूप से अमान्य है.
शिवसेना ने सभी विधायकों को व्हिप जारी किया
बता दें कि, आज महाराष्ट्र कैबिनेट की बैठक हुई है. सीएम उद्धव ठाकरे बैठक में वर्चुअली मौजूद रहे. कैबिनेट बैठक खत्म होने के बाद शिवसेना ने अपने सभी विधायकों को व्हिप जारी किया है. सभी को शाम पांच बजे उद्धव ठाकरे के आधिकारिक आवास वर्षा पर पहुंचने का आदेश दिया गया है. साथ ही कहा गया कि अगर कोई विधायक नहीं पहुंचता है तो उसपर कार्रवाई की जाएगी. इस बैठक में जो भी विधायक शामिल नहीं होंगे उनकी सदस्यता रद्द की जा सकती है.
क्या है एकनाथ शिंदे का दावा?
इससे पहले एकनाथ शिंदे ने दावा किया था कि उनके साथ 46 विधायक हैं और वो ही असली शिवसेना हैं. एकनाथ शिंदे ने कहा कि मुझे लगातार बागी बताया जा रहा है जो बिल्कुल गलत है, हम सभी लोग बाला साहेब ठाकरे के भक्त हैं, शिवसैनिक हैं.