झारखंड के सरायकेला में शनिवार (2 नवंबर) की सुबह करीब 9.23 पर भूकंप के झटके महसूस किए गए. लोगों का कहना है कि अचानक तेज आवाज आई और फिर धरती हिलने लगी. कुछ सेकंड में लोगों को समझ आया कि यह भूकंप है, जिसके बाद लोगों ने घरों से बाहर आना शुरू कर दिया. इसके बाद से ही डर का माहौल बना हुआ है.
बताया जा रहा है कि भूकंप का केंद्र सरायकेला से 13 किलोमीटर की दूरी पर जमशेदपुर रांची और राउरकेला के बीच में था. दरअसल, झारखंड के कई हिस्सों में भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए. फिलहाल, राहत की खबर यह रही कि किसी तरह का कोई नुकसान नहीं हुआ है.
जानकारी के अनुसार, रांची के तमाड़ में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए. करीब पांच सेकंड तक धरती हिलती महसूस हुई. वहीं, चाईबासा के चक्रधरपुर में भी भूकंप पता चला और लोग अपने-अपने घरों से बाहर आ गए.
भूकंप की तीव्रता 4.3
झारखंड के खरसावां में भूकंप का एपिसेंटर मिला है. यह अर्थक्वेक सुबह करीब 9.23 पर आया था, जिसकी रिक्टर स्केल पर तीव्रता 4.3 गैग्नीट्यूड की मापी गई है.
क्यों आता है भूकंप?
दरअसल, भूकंप के पीछे की साइंस की बात की जाए तो इसके लिए सबसे पहले पृथ्वी की संरचना को समझा जाना चाहिए. हमारी धरती कई सारे टैक्टॉनिक प्लेटों से बनी है, जिसके नीचे खौलता लावा है. इसी लावे पर ये टैक्टॉनिक प्लेट तैरती हैं. तैरते-तैरते ये प्लेट आपस में टकरा जाती हैं और अगर ये टक्कर तेज हुई तो प्लेट टूट जाती हैं या उनमें कुछ बदलाव होता है. ऐसे में नीचे लावे की तरफ से जो एनर्जी बन रही है, उसे बाहर आने का रास्ता मिलने लगता है और ऊर्जा ऊपर की ओर आने लगती है. इस जटिल प्रक्रिया का परिणाम भूकंप होता है.