कोरोना वायरस को लेकर दुनिया में हर तरफ दहशत का माहौल है। भारत में भी कोरोना वायरस के मामलों में लगातार बढ़ोतरी देखी जा रही है। इन सब के बीच एक राहत भरी खबर आ रही है। दरअसल, आईआईटी कानपुर के प्रोफ़ेसर मनिंदर अग्रवाल ने दावा किया है कि भारत में कोरोना वायरस फरवरी के अंत तक खत्म हो जाएगा। मनिंदर अग्रवाल आईआईटी कानपुर में कंप्यूटर साइंस और इंजीनियरिंग विभाग में प्रोफेसर हैं और इन दिनों लगातार सुर्खियों में है। न्यूज़ एजेंसी एएनआई के मुताबिक मनिंदर अग्रवाल ने कहा कि हमारे अनुसार भारत में कोविड फरवरी के अंत तक ख़त्म हो जाएगा। अब तक किसी बड़े राज्य ने कोविड पीक को पार नहीं किया है। कुछ राज्य अगले एक हफ्ते में कोविड पीक को पार करेंगे।
मनिंदर अग्रवाल ने दावा किया कि दिल्ली में 2 दिन पहले कोरोना पीक पर पहुंच गया है और इस महीने के अंत तक दिल्ली में कोरोना समाप्त हो जाएगा। हालांकि इससे पहले आईआईटी कानपुर के शोधकर्ताओं ने दावा किया था कि कोविड-19 महामारी की तीसरी लहर भारत में 3 फरवरी तक चरम पर हो सकती है। भारत में ओमीक्रोन के बढ़ते मामलों को लेकर भी दावा किया गया था। शोधकर्ताओं ने अपने अध्ययन में अमेरिका, ब्रिटेन, जर्मनी और रूस जैसे देशों से प्राप्त आंकड़ों का इस्तेमाल किया, जो पहले ही महामारी की तीसरी लहर का सामना कर रहे थे। वहीं भारत में ‘आर-वैल्यू’ सात जनवरी से 13 जनवरी के बीच 2.2 दर्ज की गई जो पिछले दो हफ्तों से कम है।
भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) मद्रास के प्रारंभिक विश्लेषण में यह बात सामने आई है। ‘आर-वैल्यू’ यह इंगित करती है कि कोविड-19 कितनी तेजी से फैल रहा है। प्रो. नीलेश एस. उपाध्याय और प्रो. एस. सुंदर की अध्यक्षता में आईआईटी मद्रास के गणित विभाग और ‘सेंटर ऑफ एक्सेलेंस फॉर कम्प्यूटेशनल मैथेमैटिक्स एंड डेटा साइंस’ के विश्लेषण के अनुसार, इस दौरान मुंबई की आर वैल्यू 1.3, दिल्ली की 2.5, चेन्नई की 2.4 और कोलकाता की 1.6 थी। यह 25 दिसंबर से 31 दिसंबर तक राष्ट्रीय स्तर पर 2.9 के करीब थी, जबकि एक जनवरी से छह जनवरी के बीच यह चार थी। ‘आर-वैल्यू’ यह दर्शाती है कि एक संक्रमित व्यक्ति औसतन कितने लोगों को संक्रमित करता है। दूसरे शब्दों में कहें तो इससे यह पता चलता है कि वायरस कितनी तेजी से फैल रहा है। यदि यह वैल्यू एक से नीचे चली जाती है तो महामारी को समाप्त माना जाता है।