पश्चिम बंगाल से टीएमसी सांसद-एक्ट्रेस मिमी चक्रवर्ती गंभीर रूप से बीमार हो गई हैं. उन्होंने हाल ही में एक फर्जी वैक्सीनेशन कैंप से कोरोना वैक्सीन का पहला टीका लगवाया था. हालांकि मिमी ने अपने ट्विटर से जानकारी दी थी कि टीका लगवाने से उनके कोई परेशानी नहीं हुई है. लेकिन टीका लगवाने के 4 दिन बाद वह बीमार हो गई हैं.
. बता दें कि मिमी चक्रवर्ती ने हाल में अपने साथ धोखा होने को खुलासा किया था. उन्होंने कोलकाता में एक नकली कोविड टीकाकरण कैंपेन करने वाले एक शख्स का भंडाफोड़ किया था. इस शख्स का नाम देबांजन देव है, जोकि अब कोलकाता पुलिस की हिरासत में है.
देबांजन देव ने खुद को आईएएस ऑफिसर बताकर मिमी चक्रवर्ती से बात की थी. देबांजन कहना था कि उसने कोलकोता में चल रहे वैक्सीनेशन कैंप का निरिक्षण कर रहा था. अब कहा जा रहा है कि देबांजन ने सैंकड़ों लोगों को फर्जी वैक्सीन लगाई है. कोलकाता पुलिस बड़े पैमाने पर इसकी जांच करने में जुट गई है.
दरअसल, इस शख्स ने मिमी चक्रवर्ती को अपने कैंप में बतौर चीफ गेस्ट बुलाया. लोगों को मोटिवेट करने के लिए मिमी चक्रवर्ती ने उस देबांजन के कैंप में कोविड का टीका लगवाया. टीका लगवाने के बाद उनके पास वैक्सीन लगवाने से संबंधित कोई आधिकारिक मैसेज उनके मोबाइल पर नहीं आया. इसके बाद मिमी को शक हुआ और उन्होंने पुलिस को इसकी जानकारी दी.
लोगों को मोटिवेट करने के लिए लगवाई वैक्सीन
मिमी चक्रवर्ती ने कहा,”उसने मुझसे कहा था कि वह एक ट्रांसजेंडर और दिव्यांग लोगों के लिए स्पेशल वैक्सीन ड्राइव चल रहा है और उसने मुझे वहां आने की रिक्वेस्ट भी की. लोगों को मोटिवेट करने के लिए मैंने उनके कैंप में कोविशील्ड वैक्सीन ली, लेकिन मेरे पास कोविन की तरफ से इसके कंफर्मेशन का मैसेज नहीं आया.”
मिमी को ऐसे हुआ शक
मिमी ने कहा कि उन्होंने उनका आधार नंबर लिखा और वो सभी जानकारी मांगी जो कोविन में पर मांगी जाती है. लेकिन उन्हें किसी भी तरह का मैसेज नहीं है. उन्होंने कहा कि इसके बाद उन्हें शक हुआ तो कोलकोता पुलिस को शिकायत की और पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया.