24 घंटे में बैकफुट पर हेमंत सरकार:बंगाल चुनाव के दिन अब बंद नहीं होगी शराब की दुकानें, व्यापारी और राजस्व के दबाव में वापस लेना पड़ा फैसला

रांची
हेमंत सरकार को अपने एक और फैसले को वापस लेना पड़ा है। बंगाल चुनाव के 48 घंटे पहले रांची में शराब दुकानों को बंद करने के फैसले 24 घंटे के भीतर ही सरकार बैकफुट पर आ गई है। शराब कारोबारियों और राजस्व के कारण सरकार ने निर्णय किया है कि अब रांची में शराब की दुकानें खुली रहेंगी।
नए आदेश के मुताबिक अब केवल वैसे इलाके जो सीधे पश्चिम बंगाल से लगते हों उन इलाकों में चुनाव से 48 घंटे पहले दुकानों को बंद रखने का निर्देश दिया गया है। ऐसा पहली बार हो रहा था जब बंगाल में चुनाव के कारण रांची में शराब दुकानों को बंद करने का निर्देश जारी किया गया था। सरकार के इस फैसले का कारोबारियों ने भी विरोध किया था। उन्होंने कहा था कि वे शराब के बिक्री के टार्गेट को पूरा नहीं कर पाएंगे।
केवल रांची में बंदी से ढ़ाई करोड़ से ज्यादा का हो रहा था नुकसान
होली से ठीक पहले रांची में ड्राई डे की घोषणा होने पर राज्य सरकार को लगभग 2.5 करोड़ रुपए राजस्व का नुकसान होता । रांची से राज्य के कुल शराब के राजस्व का 20 फीसदी हिस्सा आता है। एक अनुमान के मुताबिक रांची में 90-93 अंग्रेजी शराब की दुकानें हैं। एक दुकान से औसतन सरकार को 90 हजार रुपए का राजस्व रोजाना आता है। इसके अलावा देसी शराब से अलग से राजस्व प्राप्त होता है।

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